गौरतलब है कि वित्तमंत्रालय ने इस साल जुलाई में 10,000 टन ऑर्गेनिक चीनी निर्यात को मंजूरी दी थी जिसके तहत 2,500 टन का निर्यात पहले ही हो चुका है और बाकी 7,500 टन के निर्यात के लिए अब APEDA ने आवेदन मांगा है।
हालांकि देश से सामान्य चीनी के निर्यात पर प्रतिबंध नहीं है लेकिन निर्यात को हतोत्साहित करने के लिए सरकार ने चीनी निर्यात पर 20 फीसदी का शुल्क लगाया हुआ है जिस वजह से चीनी मिलों को निर्यात पड़ता नहीं बैठ रहा है। देश में सालभर में करीब 255 लाख टन चीनी की खपत होती है, लेकिन 2015-16 के दौरान उत्पादन 251 लाख टन हुआ है और मौजूदा चीनी वर्ष 2016-17 के दौरान सिर्फ 234 लाख टन उत्पादन का अनुमान है।
हालांकि घरेलू जरूरत को पूरा करने के लिए पुरान स्टॉक पर्याप्त बताया जा रहा है लेकिन देश में जितना भी उत्पादन हो रहा है उसका निर्यात न हो इसके लिए सरकार ने निर्यात शुल्क लगाया हुआ है।





